Posted by : Regan Thapa
पर्यायवाची शब्द का मतलब है- समान। यानी समान अर्थ व्यक्त करने वाले शब्दों को पर्यायवाची शब्द कहते हैं। इसके प्रयोग से भाषा में सुंदरता और चमत्कार पैदा हो जाता है। छात्रों का शब्द भंडार बढ़ता है। अतः इस का ज्ञान होना आवश्यक इसलिए आज हम आप सभी के लिए लाये है Paryayvachi Shabd हिंदी भाषा में क्योकि अपनी ये पर्यायवाची शब्द हिंदी में ही अच्छे लगते है
501 पर्यायवाची शब्द ? Paryayvachi Shabd in Hindi ?
1 | अंगूर | द्राक्षा , दाख , इंगुर . |
2 | आम | आम्र ,रसाल ,कामशर . |
3 | अंधकार | तिमिर , अँधेरा , तम। |
4 | आग | अग्नि,अनल,पावक ,दहन,ज्वलन,धूमकेतु,कृशानु । |
5 | अच्छा | उचित , शोभन , उपयुक्त , शुभ , सौम्य। |
6 | अजेय | अजित , अपराजित , अपराजेय। |
7 | अतिथि | पाहून, आंगतुक , अभ्यागत , मेहमान। |
8 | अनुचर | नौकर , दास , सेवक , परिचारक। |
9 | अनुपम | अनूठा , अनोखा , अपूर्व , निराला , अभूतपूर्व। |
10 | अन्य | पृथक , और , भिन्न ,दूसरा। |
11 | अनाज | शस्य , अन्न , धान्य। |
12 | अरण्य | विपिन , वन , कानन , कान्तार , जंगल। |
13 | आभूषण | विभूषण , भूषण , गहना , अलंकार। |
14 | आज्ञा | हुक्म , आदेश , निर्देश। |
15 | अमृत | सुधा,अमिय,पियूष,सोम,मधु,अमी। |
16 | असुर | दैत्य,दानव,राक्षस,निशाचर,रजनीचर,दनुज। |
17 | अश्व | वाजि,घोडा,घोटक,रविपुत्र ,हय,तुरंग . |
18 | आम | रसाल,आम्र,सौरभ,मादक,अमृतफल,सहुकार । |
19 | अंहकार | गर्व,अभिमान,दर्प,मद,घमंड। |
20 | आँख | लोचन, नयन, नेत्र, चक्षु, दृग, विलोचन, दृष्टि। |
21 | आकाश | नभ,गगन,अम्बर,व्योम, अनन्त ,आसमान। |
22 | आनंद | हर्ष,सुख,आमोद,मोद,प्रमोद,उल्लास। |
23 | आश्रम | कुटी ,विहार,मठ,संघ,अखाडा। |
24 | आंसू | नेत्रजल,नयनजल,चक्षुजल,अश्रु । |
25 | इंतकाल | देहांत , निधन , मृत्यु ,अन्तकाल। |
26 | इंदु | चाँद , चंद्रमा, चंदा , राकेश। |
27 | इंसान | मनुष्य , आदमी , मानव , मानुष। |
28 | इन्साफ | न्याय , फैसला , अदल। |
29 | इजाजत | स्वीकृति , मंजूरी , अनुमति। |
30 | इज्जत | मान , प्रतिष्ठा , आदर , आबरू। |
31 | इनाम | पुरस्कार , पारितोषिक , बख्शीश। |
32 | इल्जाम | आरोप , लांछन ,दोषारोपण , अभियोग। |
33 | इंद्र | देवराज,सुरेन्द्र ,सुरपति ,अमरेश ,देवेन्द्र ,वासव ,सुरराज ,सुरेश . |
34 | इन्द्राणी | इंद्रवधु,शची,पुलोमजा . |
35 | ईश्वर | भगवान,परमेश्वर,जगदीश्वर ,विधाता। |
36 | इच्छा | अभिलाषा,चाह,कामना,लालसा,मनोरथ,आकांक्षा । |
37 | उन्नति | प्रगति , विकास , उत्कर्ष , अभ्युदय , उत्थान , वृद्धि। |
38 | उत्साह | आवेग , जोश , उमंग। |
39 | उद्यान | बाग़ , कुसुमाकर , वाटिका , उपवन , बगीचा। |
40 | ओंठ | ओष्ठ,अधर,होठ। |
41 | कमल | पद्म,पंकज,नीरज,सरोज,जलज,जलजात । |
42 | कल | सुन्दर , अगला दिन , मशीन , आराम , श्रेष्ठ। |
43 | कपड़ा | चीर , ,पट , वसन , अम्बर , वस्त्र। |
44 | कनक | गेंहू का आटा , स्वर्ण , धतूरा , सोना। |
45 | कृषक | हलवाहा , किसान , कृषिजीवी , खेतिहर। |
46 | कान | श्रवण , श्रुतिपट , कर्ण , श्र्वानेंद्रिय। |
47 | कोमल | नाजुक , नरम , मृदु , सुकुमार , मुलायम। |
48 | कोष | भंडार , ख़जाना , निधि। |
49 | कोयल | वनप्रिय , पिक , कोकिला , काक्पाली , वसंतदूत। |
50 | किरण | मरीचि , कर , अंशु , रश्मि , मयूख। |
51 | किनारा | कगार , कूल , तट , तीर। |
52 | कृपा | प्रसाद,करुणा,दया,अनुग्रह। |
53 | खल | अधम , दुर्जन , दुष्ट , कुटिल , नीच। |
54 | गाय | गौ,धेनु,सुरभि,भद्रा ,रोहिणी। |
55 | गधा | गर्दभ ,खर,धूसर ,शीतलावाहन,चक्रीवान. |
56 | चरण | पद,पग,पाँव, पैर । |
57 | चातक | सारन,मेघजीवन ,पपीहा ,स्वातीभक्त . |
58 | कंगन | कड़ा, चूडा , वलय , कंकड़ . |
59 | करघनी | कमरबंद ,किंकिणी, तगड़ी . |
60 | काजल | काज़र , कज्जल , अंजन ,सुरमा . |
61 | किताब | पोथी ,ग्रन्थ ,पुस्तक । |
62 | कपड़ा | चीर,वसन, पट ,वस्त्र ,अम्बर ,परिधान । |
63 | कामदेव | मन्मथ ,मनोज,काम,मार ,कंदर्प,अनंग ,मनसिज ,रतिनाथ ,मीनकेतू. |
64 | कुबेर | किन्नरपति , किन्नरनरेश ,यक्षराज ,धनाधिप ,धनराज ,धनेश . |
65 | किरण | ज्योति, प्रभा,रश्मि, दीप्ति, मरीचि । |
66 | किसान | कृषक ,भूमिपुत्र ,हलधर ,खेतिहर ,अन्नदाता । |
67 | कृष्ण | राधापति ,घनश्याम ,वासुदेव , माधव, मोहन ,केशव ,गोविन्द ,गिरधारी । |
68 | कान | कर्ण ,श्रुति ,श्रुतिपटल । |
69 | कल्पवृक्ष | कल्पतरु ,देवतरु,कल्पलता ,देववृक्ष ,पारिजात . |
70 | गंगा | देवनदी ,मंदाकनी,भगीरथी ,विश्नुपगा, देवपगा ,ध्रुवनंदा । |
71 | गणेश | गजानन , गौरीनंदन , गणपति , गणनायक , शंकरसुवन ,लम्बोदर ,महाकाय। |
72 | कोयल | कोकिला , पिक , काकपाली, बसंतदूत । |
73 | क्रोध | रोष , कोप , अमर्ष , कोह , प्रतिघात । |
74 | गज | हाथी , हस्ती , मतंग , कूम्भा, मदकल । |
75 | गुरु | शिक्षक , बड़ा , भारी , वृहस्पति . |
76 | ग्रीष्म | ताप , घाम , निदाघ , गर्मी . |
77 | गृह | घर , सदन , गेह ,भवन, धाम , निकेतन ,निवास । |
78 | घटना | हादसा , वारदात , वाकया. |
79 | घन | मेघ , बादल, घटा , अम्बुद , अम्बुधर . |
80 | घपला | गड़बड़ी ,गोलमाल , घोटाला . |
81 | घमंड | दंभ , दर्प , गर्व , गरूर , अभिमान . |
82 | घर | गृह , धाम , गेह,बसेरा . |
83 | घुड़सवार | अश्वारोही , तुरंगी ,तुरंगारूढ़. |
84 | घुमक्कड़ | भ्रमणशील ,पर्यटक , यायावर . |
85 | घूस | घूस, रिश्वत ,उत्कोच . |
86 | घोड़ा | तुरंग , हय , घोट ,घोटक,अश्व . |
87 | चंद्रमा | चन्द्र , शशि , हिमकर , राकेश , रजनीश , निशानाथ , सोम , मयंक , सारंग , सुधाकर , कलानिधि । |
88 | चतुर | चालाक , कुशल , पटु , नागर , दक्ष ,प्रवीण . |
89 | छंटनी | कटौती , छंटाई , काट |
90 | छटा | शोभा , छवि , सुन्दरता ,खूबसूरती . |
91 | छल | दगा , ठगी , फरेब , छलावा . |
92 | छाछ | माहि , माठा, लस्सी , छाछी. |
93 | छाती | सीना , वक्ष , उर . |
94 | छुटकारा | मुक्ति , रिहाई ,निजात . |
95 | जल | वारि , नीर , तीय ,अम्बु , उदक , पानी ,जीवन , पय, पेय । |
96 | जहाज | पोत , जलयान . |
97 | जंगल | विपिन , कानन , वन, अरण्य, गहन । |
98 | जमुना | सूर्यसुता ,कृष्णा, अर्कजा ,रवितनया ,कालिंदी . |
99 | जीभ | रसना ,वाणी ,गिरा ,रसज्ञा. |
100 | झंडा | फरहरा , ध्वज , पताका , निशान . |
101 | झरना | प्रताप , उत्स , निर्झर , सोता , श्रोत . |
102 | झूठ | असत्य , मिथ्या, मृषा, अनृत । |
103 | तन | काया , तनु , शरीर , देह , कलेवर . |
104 | तरु | विटप, पादप , पेड़ ,द्रुम, वृक्ष . |
105 | तात | परम , प्यारा , पूज्य , पिता . |
106 | तालाब | सरोवर , जलाशय , सर, पुष्कर , पोखरा, जलवान , सरसी । |
107 | तलवार | असि,करवाल ,कृपाण,खडग ,शायक,चंद्रहास . |
108 | तीर | वाण,सर ,नाराच ,विहंग शिलिमुख . |
109 | तोता | सुग्गा ,शुक ,सुआ,कीर ,दाड़िमप्रिय . |
110 | दास | सेवक , नौकर , चाकर , परिचारक , अनुचर । |
111 | दरिद्र | निर्धन , गरीब , रंक , कंगाल , दीन। |
112 | दिन | दिवस, याम , दिवा, वार, प्रमान। |
113 | दुःख | पीड़ा ,कष्ट , व्यथा , वेदना , संताप , शोक , खेद , पीर, लेश । |
114 | दूध | दुग्ध , क्षीर , पय । |
115 | दुष्ट | पापी , नीच , दुर्जन , अधम , खल , पामर । |
116 | दर्पण | शीशा , आरसी , आईना , मुकुर । |
117 | दांत | दन्त ,दसन ,रद . |
118 | दुर्गा | चंडिका , भवानी , कुमारी , कल्याणी , महागौरी , कालिका , शिवा । |
119 | देवता | सुर, देव, अमर , वसु , आदित्य , लेख । |
120 | धनुष | धनुही ,धनु ,सारंग ,चाप ,शरासन . |
121 | धन | दौलत , संपत्ति , सम्पदा, वित्त । |
122 | धरती | पृथ्वी , भू, भूमि , धरणी, वसुंधरा , अचला , मही, रत्नवती , रत्नगर्भा । |
123 | ध्वनि | स्वर ,आवाज ,आहट . |
124 | नदी | सरिता , तटीना , सरि, सारंग , जयमाला । |
125 | नया | नूतन , नव, नवीन , नव्य। |
126 | नरक | यमलोक ,यमालय ,दुर्गति ,कुम्भीपाक . |
127 | नित्य | सदा ,सर्वदा ,सतत ,निरंतर . |
128 | निरादर | अपमान ,उपेक्षा ,अवहेलना ,तिरस्कार ,अवज्ञा . |
129 | नाव | नौका ,बेडा , तरणी,जलयान ,जलवाहन. |
130 | पवन | वायु , हवा, समीर , वात , मारुत , अनिल, पवमान । |
131 | पहाड़ | पर्वत , गिरी , अचल , नग, भूधर , महीधर । |
132 | पक्षी | खग, चिडिया , गगनचर , पखेरू , विहंग , नभचर । |
133 | पानी | जल ,नीर ,वारि ,सलिल ,अंबु. |
134 | पार्वती | उमा,गिरिजा ,गौरी ,शिवा ,भवानी ,अम्बिका . |
135 | पति | स्वामी , प्राणाधार , प्राणप्रिय, प्राणेश, आर्यपुत्र। |
136 | पत्नी | गृहणी , बहु , वनिता , दारा, जोरू ,वामांगिनी । |
137 | पुत्र | बेटा , आत्मज, वत्स , तनुज , तनय, नंदन । |
138 | पुत्री | बेटी, आत्मजा , तनूजा, सुता , तनया । |
139 | पुष्प | फूल , सुमन , कुसुम , मंजरी , प्रसून । |
140 | फल | मीजान,बीजकोश,पुष्पाण्ड,प्रभुभोज,सस्य,रसाबाद, फर,पुष्पज. |
141 | पृथ्वी | धरती ,धरा ,भू ,भूमि ,जमीन,वसुंधरा ,धरणी . |
142 | प्रतीक | संकेत , निशानी ,लक्षण. |
143 | प्रधान | मुख्य , प्रमुख , वरिष्ठ. |
144 | प्रयत्न | चेष्टा , प्रयास ,कोशिश ,उद्दम. |
145 | प्रसिद्ध | मशहूर ,विख्यात ,बहुचर्चित. |
146 | प्राण | जान ,जीव. |
147 | फूल | सुमन ,कुसुम ,पुष्प. |
148 | फ़ौरन | तत्काल , तुरंत ,तत्क्षण. |
149 | बचपन | बाल्यपन ,लड़कपन ,छुटपन. |
150 | बल | ताकत ,शक्ति , सत्व , जोर . |
151 | बाधा | विघ्न , रुकावट , रोड़ा , |
152 | बाण | तीर , शर, विहंग , शलाका . |
153 | ब्राह्मण | द्विज , विप्र , भूदेव . |
154 | बुद्धिमत्ता | बुद्धिमानी , होशियारी , चतुरता , अक्लमंदी . |
155 | भाग्य | किस्मत , तकदीर , प्रारब्ध ,नसीब . |
156 | भाषण | वक्तव्य , व्याख्यान ,उपदेश |
157 | भ्रमर | अलि, मधुप , मधुकर , भृंग ,भौरा |
158 | मदद | सहयोग , सहायता , योगदान |
159 | मन | अन्तकरण ,चित्त , दिल , मानस |
160 | मनोवृति | आचरण वृति , प्रवृति , मानसिकता |
161 | मित्र | सखा , सहचर , साथी ,दोस्त |
162 | मूल्य | मोल , कीमत , कदर ,लागत ,दाम ,दर . |
163 | मृत्यु | मौत , देहांत ,निधन ,अंत ,स्वर्गवास. |
164 | मोक्ष | मुक्ति , निर्वाण , कैवल्य ,परम्पद . |
165 | मछली | मीन ,मतस्य ,झष ,जलचरी . |
166 | मरू | रेगिस्तान, मरुस्थल, ऊसर. |
167 | मर्मज्ञ | मर्मवेदी , मर्मविद, तत्वज्ञ. |
168 | मर्यादा | आचार, सीमा , रीति रेखा , सदाचार. |
169 | महत्व | बड़प्पन, बड़ाई, गुरुता , महिमा ,महत्ता . |
170 | मोर | मयूर , केकी ,शिखी ,कलापी. |
171 | बकरी | छेरी , छागी ,अजा . |
172 | बादल | मेघ, घन , जलधर , जलद, वारिद, नीरद , सारंग । |
173 | बालू | रेत , बालुका , सैकत । |
174 | बन्दर | वानर , कपि, कपीश, हरि। |
175 | बिजली | घनप्रिया , इन्द्र्वज्र, चपला , दामिनी , ताडित, विद्युत । |
176 | ब्रह्मा | अज ,विधि ,विधाता ,प्रजापति ,निर्माता ,धाता ,चतुरानन ,प्रजाधिप . |
177 | बाण | तीर ,शर ,सायक ,शिलीमुख . |
178 | विष | जहर , हलाहल , गरल , कालकूट । |
179 | वृक्ष | पेड़ , पादप , विटप , तरु , गाछ । |
180 | विष्णु | नारायण , दामोदर , पीताम्बर , चक्रपाणी । |
181 | भूषण | जेवर , गहना, आभूषण , अलंकार । |
182 | भौरा | भ्रमण ,भँवरा,भृंग ,मिलिंद ,सारंग ,मधुप . |
183 | माला | कंठहार , हार , तस्बीह . |
184 | महेश | महादेव ,नीलकंठ ,चंद्रशेखर ,गंगाधर ,रूद्र ,शिव ,विश्वनाथ . |
185 | मनुष्य | आदमी , नर, मानव, मानुष , मनुज । |
186 | मदिरा | शराब , हाला, आसव, मधु, मद। |
187 | मोर | केक , कलापी, नीलकंठ , नर्तकप्रिय । |
188 | मधु | शहद , रसा, शहद, कुसुमासव । |
189 | मृग | हिरण, सारंग , कृष्णसार। |
190 | मछली | मीन , मत्स्य , जलजीवन , शफरी , मकर । |
191 | मूर्ख | गँवार,अल्पमति ,अज्ञानी ,अपढ़ ,जड़ . |
192 | मृत्यु | देहांत ,मौत , अंत ,स्वर्गवास ,मरण . |
193 | मोक्ष | मुक्ति ,परधाम ,निर्वाण , परमपद ,अपवर्ग . |
194 | यमराज | धर्मराज ,यम ,अन्तक ,सूर्यपुत्र, दंडधर . |
195 | यंत्र | मशीन , कल , उपकरण ,औजार . |
196 | यंत्रणा | क्लेश , यातना , वेदना , पीड़ा , दुःख . |
197 | यकायक | अचानक , एकाएक , सहसा . |
198 | यज्ञ | याग , मख , हवन , होम , अनुष्ठान . |
199 | यति | सन्यासी , तपस्वी , तापस , विराम . |
200 | यत्न | कोशिश ,प्रयत्न , प्रयास ,उपचार . |
201 | यथार्थ | ठीक , उचित , सत्य , असली , सही . |
202 | यथेष्ट | अभीष्ट , इच्छानुसार , मनमाना . |
203 | यमुना | सुर्यसुता, सूर्य तनया , स्वसा ,कृष्णा , हंससुता . |
204 | यश | ख्याति , शोहरत , नेकनामी , कीर्ति , नाम . |
205 | यशोदा | नंदरानी , यशोमती , महरि . |
206 | याचना | प्रार्थना पत्र , आवेदन पत्र, अभ्यर्थनापत्र . |
207 | यात्रा | सफ़र , देशाटन , सैर , भ्रमण . |
208 | याद | स्मरण ,स्मृति , सुधि . |
209 | यान | वाहन , सवारी , विमान . |
210 | युक्ति | उपाय , ढंग , प्रवीणता , चतुराई . |
211 | युद्ध | रण ,जंग , समर , समाघात . |
212 | युवक | युवा , तरुण , जवान , नौजवान . |
213 | युवती | तरुणी , बाला , कुमारी , रमणी . |
214 | योग | मेल , मिलाप , संयोग , संपर्क , तपस्या . |
215 | योग्य | सक्षम , कुशल , समर्थ , उपयुक्त . |
216 | योजना | परिकल्पना , रुपरेखा , कार्यसाधन . |
217 | यौवन | युवावस्था , जवानी , जोबन , तारुण्य . |
218 | रंक | गरीब ,दरिद्र , कंगाल ,निर्धन . |
219 | रंगीला | रसिया ,रसिक ,छैला ,मौजी . |
220 | रक्त | रुधिर , लहू ,खून , रक्तिम . |
221 | रक्षा | संरक्षण , सुरक्षा , प्रतिरक्षा , बचाव . |
222 | रजनी | रात , रात्रि , निशा , यामिनी . |
223 | रण | लड़ाई , युध्य , संग्राम , समर , जंग . |
224 | रत | अनुरक्त , आसक्त , लिप्त ,निमग्न . |
225 | रत्ती | जरा सा , थोड़ा सा ,रत्तीभर . |
226 | रत्नाकर | समुन्द्र ,सागर , पारावार , वारिध . |
227 | रमण | स्त्री प्रसंग , मैथुन . सम्भोग , रतिविलास . |
228 | रम्य | सुन्दर , मनोरम , आकर्षक . |
229 | रस | जूस , रस , शोरबा ,अनुराग ,उमंग . |
230 | राका | पूर्णमासी , पूर्णिमा , पूनम , पूनो . |
231 | राक्षस | निशाचर , निशिचर ,मनुजाद , दैत्य ,दानव . |
232 | राजा | महिपाल , भूपाल , नरेश , पार्थ , सम्राट . |
233 | राधा | राधिका , हरिप्रिया , ब्रजरानी , वृषभानुजा . |
234 | रानी | स्वामिनी , मालकिन , बेगम , राजपत्नी . |
235 | राय | मत , सम्मति , सलाह , धारणा , विचारणा . |
236 | रूचि | चाह , इच्छा , अभिलाषा , कामना , पसंद . |
237 | रोग | व्याधि , बीमारी , मर्ज़ , रुग्णता . |
238 | रोज़गार | कारोबार , पेशा , जीविका , काम , व्यापार . |
239 | रोटी | चपाती , फुलकी , फुल्का . |
240 | रोम | बाल , लोम , रोयाँ . |
241 | रात | रात्रि, रैन , रजनी , निशा , यामिनी , तमी, निशि , यामा। |
242 | राजा | नृप, भूप, भूपाल , नरेश , महीपति , अवनीपति । |
243 | लंका | लंकपुरी , रावणपूरी , सिंहलद्वीप , स्वर्णपुरी . |
244 | लंगडा | अपाहिज , अपांग , पंगु , लुंज , लूका . |
245 | लकुटिया | छड़ी , डंडा , लकुटी , लाठी ,सोटा . |
246 | लक्ष्मण | अनंत , शेषावतार , सौमित्र ,रामानुज , अहिश . |
247 | लगाम | रास , बागडोर , बाग़ , कुशा , मुखरी . |
248 | लहर | तरंग ,मौज , उर्मि, हिलकोर. |
249 | लाभ | मुनाफा , फायदा , नफा , बचत , बरकत . |
250 | लाम | सेना , फौज , आर्मी , बिग्रेड . |
251 | लुब्धक | बहेलिया , आखेटक , शिकारी , अहेरी ,व्याध . |
252 | लोहा | लौह , इस्पात , फौलाद , अयस ,रुक्म . |
253 | लक्ष्मी | कमला , पद्मा , रमा, हरिप्रिया , श्री , इंदिरा । |
254 | विवाह | शादी ,गठबंधन ,परिणय ,व्याह ,पाणिग्रहण . |
255 | समूह | गण,झुण्ड ,संघ ,वृन्द ,समुदाय . |
256 | वायु | पवन ,अनिल ,समीर, हवा ,वात . |
257 | वस्त्र | कपडा , वसन ,अम्बर ,परिधान ,पट . |
258 | विष | जहर ,हलाहल ,माहुर ,गरल ,कालकूट . |
259 | साँप | सर्प , नाग , विषधर , उरग , पवनासन। |
260 | शिव | भोलेनाथ ,शम्भू, त्रिलोचन , महादेव, नीलकंठ , शंकर। |
261 | सीताफल | काशीफल ,कुम्हड़ा ,पेठा. |
262 | सूर्य | रवि , सूरज , दिनकर, प्रभाकर, आदीत्य, भास्कर , दिवाकर। |
263 | संसार | जग, विश्व , जगत , लोक , दुनिया । |
264 | शरीर | देह , तनु , काया , कलेवर , अंग , गात । |
265 | सोना | स्वर्ण , कंचन, कनक , हेम , कुंदन । |
266 | स्त्री | अबला ,नारी ,महिला ,रमणी ,दारा,कान्ता. |
267 | सिंह | केशरी, शेर, महावीर, नाहर, सारंग , मृगराज । |
268 | सेना | वाहिनी ,कटक ,चमू . |
269 | समुद्र | सागर, पयोधि, उदधि , पारावार, नदीश ,जलधि । |
270 | हनुमान | महावीर ,पवनसुत ,रामदूत ,मारुती ,कपीश ,बजरंगबली . |
271 | हर्ष | आनंद ,प्रसन्नता ,प्रमोद ,सुख ,आमोद . |
272 | हाथी | गज ,सिंघु ,हस्ती ,नाग ,मतंग,गजेन्द्र . |
273 | शत्रु | रिपु , दुश्मन , अमित्र , वैरी । |
274 | हिमालय | हिमगिरी , हिमाचल , गिरिराज , पर्वतराज , नगेश। |
275 | ह्रदय | छाती , वक्ष , वक्षस्थल , हिय , उर । |
276 | हंस | मराल , सारंग ,राजहंस ,धवलपक्ष |
277 | हक़ | अधिकार , दावा ,कब्ज़ा ,प्रभुत्व . |
278 | हत | आहत , घायल ,हताहत . |
279 | हलफ़ | कसम , सौगंध , शपथ |
280 | हाकिम | शासक , शासनकर्ता ,प्रशासनकर्ता . |
281 | हाटक | सोना , कंचन , कुंदन , हेम ,कनक . |
282 | हाला | शराब , दारु , सुरा , मय. |
283 | हिज्र | वियोग , विरह , जुदाई ,विछोह . |
284 | हिब्बा | दान , खैरात , जकात . |
285 | हिमकूट | जाड़ा ,सर्दी ,शीतकाल . |
286 | हिमारि | आग , अग्नि , अनल ,पावक . |
287 | हिरास | भय , डर , दहशत ,खौफ . |
288 | हूँस | पीड़ा , दर्द , टीस, कसक . |
289 | हेमकार | सुनार , स्वर्णकार , सोनार ,जौहरी . |
290 | हेमतरु | धतूरा ,कंटकफल , कनक ,मंदार . |
291 | हेमरागिनी | हरिता , हल्दी , कावेरी , भद्रा . |
292 | हेमल | छिपकली ,पल्ली , बिस्तुइया . |
293 | हेमा | भू , भूमि , धरा , धरती ,वसुधा ,वसुंधरा ,पृथ्वी . |
294 | हेरंब | गणेश , गणपति , एकदंत , गणनायक . |
295 | हैदर | शेर , सिंह , केसरी , केहरी , वनराज . |
296 | होड़ | प्रतियोगिता , स्पर्धा , मुकाबला ,प्रतिद्वंदिता . |
297 | अंधकार | तम, तिमिर, अँधेरा, तमस, अंधियारा. |
298 | आम | रसाल, आम्र, सौरभ, अमृतफल. |
299 | आंसू | नेत्रजल, नयनजल, चक्षुजल, अश्रु. |
300 | आत्मा | जीव, चैतन्य, चेतनतत्तव, अंतःकरण. |
301 | आग | अग्नि, अनल, हुतासन, पावक, कृशानु, वहनि, शिखी, वह्नि. |
302 | आँख | लोचन, नयन, नेत्र, चक्षु, दृष्टि. |
303 | आकाश | नभ, गगन, अम्बर, व्योम, आसमान, अर्श. |
304 | आनंद | हर्ष, सुख, आमोद, मोद, प्रमोद, उल्लास. |
305 | आश्रम | कुटी, विहार, मठ, संघ, अखाड़ा. |
306 | अग्नि | आग, अनल, पावक. |
307 | अपमान | अनादर, अवज्ञा, अवहेलना, तिरस्कार. |
308 | अलंकार | आभूषण, गहना, जेवर. |
309 | अहंकार | दंभ, अभिमान, दर्प, मद, घमंड. |
310 | अमृत | सुधा, अमिय, पीयूष, सोम. |
311 | असुर | दैत्य, दानव, राक्षस, निशाचर, रजनीचर, दनुज, रात्रिचर, तमचर. |
312 | अतिथि | मेहमान, अभ्यागत, आगन्तुक. |
313 | अनुपम | अपूर्व, अतुल्य, अनोखा, अद्भुत, अनन्य. |
314 | अर्थ | धन, द्रव्य, मुद्रा, दौलत, वित्त, पैसा. |
315 | अश्व | हय, तुरंग, घोड़ा, घोटक, बाजि, सैन्धव. |
316 | इच्छा | अभिलाषा, चाह, कामना, लालसा, मनोरथ, आकांक्षा, अभीष्ट. |
317 | इन्द्र | सुरेश, सुरेन्द्र, देवेन्द्र, सुरपति, शक्र, पुरंदर, देवराज, महेन्द्र, शचीपति. |
318 | इन्द्राणि | इन्द्रवधू, मधवानी, शची, शतावरी, पोलोमी. |
319 | ईश्वर | परमात्मा, प्रभु, ईश, जगदीश, भगवान, परमेश्वर, जगदीश्वर, विधाता. |
320 | उपवन | बाग़, बगीचा, उद्यान, वाटिका, गुलशन. |
321 | उक्ति | कथन, वचन, सूक्ति. |
322 | उग्र | प्रचण्ड, उत्कट, तेज, तीव्र, विकट. |
323 | उचित | ठीक, मुनासिब, वाज़िब, समुचित, युक्तिसंगत, न्यायसंगत, तर्कसंगत. |
324 | उच्छृंखल | उद्दंड, अक्खड़, आवारा, निरकुंश, मनमर्जी, स्वेच्छाचारी. |
325 | उज्जड़ | अशिष्ट, असभ्य, गँवार, जंगली, देहाती, उद्दंड, निरकुंश. |
326 | उजला | उज्ज्वल, श्वेत, सफ़ेद, धवल. |
327 | उजाड़ | जंगल, बियावान, वन. |
328 | उजाला | प्रकाश, रोशनी, चाँदनी. |
329 | उत्कर्ष | समृद्धि, उन्नति, प्रगति, उठान. |
330 | उत्कृष्ट | उत्तम, उन्नत, श्रेष्ठ, अच्छा, बढ़िया, उम्दा. |
331 | उत्कोच | घूस, रिश्वत. |
332 | उत्पत्ति | उद्गम, पैदाइश, जन्म, उद्भव, सृष्टि, आविर्भाव, उदय. |
333 | उद्धार | मुक्ति, छुटकारा, निस्तार. |
334 | उपाय | युक्ति, साधन, तरकीब, तदबीर, यत्न, प्रयत्न. |
335 | ऊधम | उपद्रव, उत्पात, धूम, हुल्लड़, हुड़दंग, धमाचौकड़ी. |
336 | ऐक्य | एकत्व, एका, एकता, मेल. |
337 | ऐश्वर्य | समृद्धि, विभूति. |
338 | ओज | तेज, शक्ति, बल, वीर्य. |
339 | ओंठ | ओष्ठ, अधर, होंठ. |
340 | औचक | अचानक, यकायक, सहसा. |
341 | औरत | स्त्री, जोरू, घरनी, घरवाली. |
342 | किसान | कृषक, भूमिपुत्र, हलधर, खेतिहर, अन्नदाता. |
343 | कृष्ण | राधापति, घनश्याम, वासुदेव, माधव, मोहन, केशव, गोविन्द, गिरधारी. |
344 | कान | कर्ण, श्रुति, श्रुतिपटल, श्रवण श्रोत, श्रुतिपुट. |
345 | कोयल | कोकिला, पिक, काकपाली, बसंतदूत, सारिका, कुहुकिनी, वनप्रिया. |
346 | क्रोध | रोष, कोप, अमर्ष, कोह, प्रतिघात. |
347 | कीर्ति | यश, प्रसिद्धि. |
348 | ऋषि | मुनि, साधु, यति, संन्यासी, तत्वज्ञ, तपस्वी. |
349 | कच | बाल, केश, कुन्तल, चिकुर, अलक, रोम, शिरोरूह. |
350 | कमल | नलिन, अरविंद, उत्पल, राजीव, पद्म, पंकज, नीरज, सरोज, जलज, जलजात, शतदल, पुण्डरीक, इन्दीवर. |
351 | कबूतर | कपोत, रक्तलोचन, पारावत. |
352 | कामदेव | मदन, मनोज, अनंग, काम, रतिपति, पुष्पधन्वा, मन्मथ. |
353 | कण्ठ | ग्रीवा, गर्दन, गला. |
354 | कृपा | प्रसाद, करुणा, दया, अनुग्रह. |
355 | किताब | पोथी, ग्रन्थ, पुस्तक. |
356 | किनारा | तीर, कूल, कगार, तट. |
357 | कपड़ा | चीर, वसन, पट, वस्त्र, परिधान. |
358 | किरण | ज्योति, प्रभा, रश्मि, दीप्ति. |
359 | खग | पक्षी, विहग, नभचर, अण्डज, पखेरू. |
360 | खंभा | स्तूप, स्तम्भ, खंभ. |
361 | खल | दुर्जन, दुष्ट, घूर्त, कुटिल. |
362 | खून | रक्त, लहू, शोणित, रुधिर. |
363 | गज | हाथी, हस्ती, मतंग, कूम्भा, मदकल . |
364 | गाय | गौ, धेनु, भद्रा. |
365 | गंगा | देवनदी, मंदाकिनी, भगीरथी, विश्नुपगा, देवपगा, देवनदी, जाह्नवी, त्रिपथगा. |
366 | गणेश | विनायक, गजानन, गौरीनंदन, गणपति, गणनायक, शंकरसुवन, लम्बोदर, एकदन्त. |
367 | गृह | घर, सदन, भवन, धाम, निकेतन, निवास, आलय, आवास. |
368 | गर्मी | ताप, ग्रीष्म, ऊष्मा, गरमी. |
369 | गुरु | शिक्षक, आचार्य, उपाध्याय. |
370 | घट | घड़ा, कलश, कुम्भ, निप. |
371 | घर | आलय, आवास, गृह, निकेतन, निवास, भवन, वास, वास |
372 | घृत | घी, अमृत, नवनीत. |
373 | घास | तृण, दूर्वा, दूब, कुश. |
374 | चरण | पद, पग, पाँव, पैर, पाद. |
375 | चतुर | विज्ञ, निपुण, नागर, पटु, कुशल, दक्ष, प्रवीण, योग्य. |
376 | चंद्रमा | चाँद, चन्द्र, शशि, रजनीश, निशानाथ, सोम, कलानिधि. |
377 | चाँदनी | चन्द्रिका, कौमुदी, ज्योत्सना, चन्द्रमरीचि, उजियारी, चन्द्रप्रभा, जुन्हाई. |
378 | चाँदी | रजत, सौध, रूपा, रूपक, रौप्य, चन्द्रहास. |
379 | चोटी | मूर्धा, सानु, शृंग. |
380 | छतरी | छत्र, छाता. |
381 | छली | छलिया, कपटी, धोखेबाज. |
382 | छवि | शोभा, सौंदर्य, कान्ति, प्रभा. |
383 | छानबीन | जाँच, पूछताछ, खोज, अन्वेषण, शोध. |
384 | छैला | सजीला, बाँका, शौकीन. |
385 | छोर | नोक, कोर, किनारा, सिरा. |
386 | जल | सलिल, वारि, नीर, तोय, अम्बु, पानी, पय, पेय. |
387 | जगत | संसार, विश्व, जग, भव, दुनिया, लोक. |
388 | जीभ | रसज्ञा, जिह्वा, वाणी, वाचा, जबान. |
389 | जंगल | कानन, वन, अरण्य, गहन, कांतार, बीहड़, विटप. |
390 | जेवर | गहना, अलंकार, भूषण. |
391 | ज्योति | आभा, छवि, द्युति, दीप्ति, प्रभा. |
392 | झूठ | असत्य, मिथ्या. |
393 | तरुवर | वृक्ष, पेड़, द्रुम, तरु, पादप. |
394 | तलवार | असि, कृपाण, करवाल, चन्द्रहास. |
395 | तालाब | सरोवर, जलाशय, पुष्कर, पोखरा. |
396 | तीर | शर, बाण, अनी, सायक. |
397 | दास | सेवक, नौकर, चाकर, अनुचर, भृत्य. |
398 | दधि | दही, गोरस, मट्ठा. |
399 | दरिद्र | निर्धन, ग़रीब, रंक, कंगाल, दीन. |
400 | दिन | दिवस, याम, दिवा, वार. |
401 | दीन | ग़रीब, दरिद्र, रंक, अकिंचन, निर्धन, कंगाल. |
402 | दीपक | दीप, दीया, प्रदीप. |
403 | दुःख | पीड़ा,कष्ट, व्यथा, वेदना, संताप, शोक, खेद, पीर. |
404 | दूध | दुग्ध, क्षीर, पय, गौरस, स्तन्य. |
405 | दुष्ट | पापी, नीच, दुर्जन, अधम, खल, पामर. |
406 | दाँत | दन्त. |
407 | दर्पण | शीशा, आरसी, आईना. |
408 | दुर्गा | चंडिका, भवानी, कल्याणी, महागौरी, कालिका, शिवा, चण्डी, चामुण्डा. |
409 | देवता | सुर, देव. |
410 | देह | काया, तन, शरीर. |
411 | धन | दौलत, संपत्ति, सम्पदा, वित्त. |
412 | धरती | धरा, धरती, वसुधा, ज़मीन, पृथ्वी, भू, भूमि, धरणी, वसुंधरा, अचला, मही, रत्नगर्भा. |
413 | धनुष | चाप, शरासन, कमान, कोदंड, धनु. |
414 | नदी | सरिता, तटिनी, सरि, सारंग, तरंगिणी, दरिया, निर्झरिणी. |
415 | नया | नूतन, नव, नवीन, नव्य. |
416 | नाव | नौका, तरणी, तरी. |
417 | पवन | वायु, हवा, समीर, वात, मारुत, अनिल. |
418 | पहाड़ | पर्वत, गिरि, अचल, शैल, भूधर, महीधर. |
419 | पक्षी | खेचर, दविज, पतंग, पंछी, खग, चिड़िया, गगनचर, पखेरू, विहंग, नभचर. |
420 | पति | स्वामी, प्राणाधार, प्राणप्रिय, प्राणेश. |
421 | पत्नी | भार्या, वधू, वामा, अर्धांगिनी, सहधर्मिणी, गृहणी, बहु, वनिता, दारा, जोरू, वामांगिनी. |
422 | पुत्र | बेटा, आत्मज, सुत, वत्स, तनुज, तनय, नंदन. |
423 | पुत्री | बेटी, आत्मजा, तनूजा, सुता, तनया. |
424 | पुष्प | फूल, सुमन, कुसुम, मंजरी, प्रसून. |
425 | फूल | पुष्प, सुमन, कुसुम, गुल, प्रसून. |
426 | बादल | मेघ, घन, जलधर, जलद, वारिद, पयोधर. |
427 | बालू | रेत, बालुका, सैकत. |
428 | बन्दर | वानर, कपि, हरि. |
429 | बिजली | घनप्रिया, इन्द्र्वज्र, चंचला, सौदामनी, चपला, दामिनी, तड़ित, विद्युत. |
430 | बगीचा | बाग़, वाटिका, उपवन, उद्यान, फुलवारी, बगिया. |
431 | बाण | सर, तीर, सायक, विशिख. |
432 | बाल | कच, केश, चिकुर, चूल. |
433 | ब्रह्मा | विधाता, स्वयंभू, प्रजापति, पितामह, चतुरानन, विरंचि, अज. |
434 | बलदेव | बलराम, बलभद्र, हलायुध, रोहिणेय. |
435 | बहुत | अनेक, अतीव, अति, बहुल, प्रचुर, अपरिमित, प्रभूत, अपार, अमित, अत्यन्त, असंख्य. |
436 | ब्राह्मण | द्विज, भूदेव, विप्र, महीदेव, भूमिसुर, भूमिदेव. |
437 | भय | भीति, डर, विभीषिका. |
438 | भाई | तात, अनुज, अग्रज, भ्राता, भ्रातृ. |
439 | भूषण | जेवर, गहना, आभूषण, अलंकार. |
440 | भौंरा | मधुप, मधुकर, द्विरेप, अलि, षट्पद, भृंग, भ्रमर. |
441 | मनुष्य | आदमी, नर, मानव, मानुष, मनुज. |
442 | मदिरा | शराब, हाला, आसव, मद. |
443 | मोर | कलापी, नीलकंठ, नर्तकप्रिय. |
444 | मधु | शहद, रसा, शहद. |
445 | मृग | हिरण, सारंग, कृष्णसार. |
446 | मछली | मीन, मत्स्य, जलजीवन, शफरी, मकर. |
447 | माता | जननी, माँ, अंबा, जनयत्री, अम्मा. |
448 | मित्र | सखा, सहचर, साथी, दोस्त. |
449 | यम | सूर्यपुत्र, जीवितेश, कृतांत, अन्तक, दण्डधर, कीनाश, यमराज. |
450 | यमुना | कालिन्दी, सूर्यसुता, रवितनया, तरणि |
451 | युवति | युवती, सुन्दरी, श्यामा, किशोरी, तरुणी, नवयौवना. |
452 | रमा | इन्दिरा, हरिप्रिया, श्री, लक्ष्मी, कमला, पद्मा, पद्मासना, समुद्रजा, श्रीभार्गवी, क्षीरोदतनया. |
453 | रात | रात्रि, रैन, रजनी, निशा, यामिनी, निशि, यामा, विभावरी. |
454 | राजा | नृप, नृपति, भूपति, नरपति, भूपाल, नरेश, महीपति, अवनीपति. |
455 | रात्रि | निशा, रैन, रात, यामिनी, शर्वरी, तमस्विनी, विभावरी. |
456 | रामचन्द्र | सीतापति, राघव, रघुपति, रघुवर, रघुनाथ, रघुराज, रघुवीर, जानकीवल्लभ, कौशल्यानन्दन. |
457 | रावण | दशानन, लंकेश, लंकापति, दशशीश, दशकंध. |
458 | राधिका | राधा, ब्रजरानी, हरिप्रिया, वृषभानुजा. |
459 | लड़का | बालक, शिशु, सुत, किशोर, कुमार. |
460 | लड़की | बालिका, कुमारी, सुता, किशोरी, बाला, कन्या. |
461 | लक्ष्मी | कमला, पद्मा, रमा, हरिप्रिया, श्री, इंदिरा, पद्मजा, सिन्धुसुता, कमलासना. |
462 | लक्ष्मण | लखन, शेषावतार, सौमित्र, रामानुज, शेष. |
463 | लौह | अयस, लोहा, सार. |
464 | लता | बल्लरी, बल्ली, बेली. |
465 | वायु | हवा, पवन, समीर, अनिल, वात, मारुत. |
466 | वसन | अम्बर, वस्त्र, परिधान, पट, चीर. |
467 | विधवा | अनाथा, पतिहीना. |
468 | विष | ज़हर, हलाहल, गरल, कालकूट. |
469 | वृक्ष | पेड़, पादप, विटप, तरू, गाछ, दरख्त, शाखी, विटप, द्रुम. |
470 | विष्णु | नारायण, चक्रपाणी. |
471 | विश्व | जगत, जग, भव, संसार, लोक, दुनिया. |
472 | विद्युत | चपला, चंचला, दामिनी, सौदामिनी, तड़ित, बीजुरी, घनवल्ली, क्षणप्रभा, करका. |
473 | बारिश | वर्षण, वृष्टि, वर्षा, पावस, बरसात. |
474 | वीर्य | जीवन, सार, तेज, शुक्र, बीज. |
475 | वज्र | कुलिस, पवि, अशनि, दभोलि. |
476 | विशाल | विराट, दीर्घ, वृहत, बड़ा, महान. |
477 | वृक्ष | गाछ, तरु, पेड़, द्रुम, पादप, विटप, शाखी. |
478 | शिव | भोलेनाथ, शम्भू, त्रिलोचन, महादेव, नीलकंठ, शंकर. |
479 | शरीर | देह, तनु, काया, कलेवर, अंग, गात. |
480 | शत्रु | रिपु, दुश्मन, अमित्र, वैरी, अरि, विपक्षी. |
481 | सीता | वैदेही, जानकी, भूमिजा, जनकतनया, जनकनन्दिनी, रामप्रिया. |
482 | शिक्षक | गुरु, अध्यापक, आचार्य, उपाध्याय. |
483 | शेर | केहरि, केशरी, वनराज, सिंह. |
484 | शेषनाग | अहि, नाग, भुजंग, व्याल, उरग, पन्नग, फणीश, सारंग. |
485 | शुभ्र | गौर, श्वेत, अमल, वलक्ष, शुक्ल, अवदात. |
486 | शहद | पुष्परस, मधु, आसव, रस, मकरन्द. |
487 | षंड | हीजड़ा, नपुंसक, नामर्द. |
488 | षडानन | षटमुख, कार्तिकेय, षाण्मातुर. |
489 | साँप | अहि, भुजंग, ब्याल, सर्प, नाग, विषधर, उरग, पवनासन. |
490 | सूर्य | रवि, सूरज, दिनकर, प्रभाकर, आदित्य, दिनेश, भास्कर, दिनकर, दिवाकर, भानु, आदित्य. |
491 | समूह | दल, झुंड, समुदाय, टोली, जत्था, मण्डली, वृंद, गण, पुंज, संघ, समुच्चय. |
492 | सभा | अधिवेशन, संगीति, परिषद, बैठक, महासभा. |
493 | सुन्दर | कलित, ललाम, मंजुल, रुचिर, चारु, रम्य, मनोहर, सुहावना, चित्ताकर्षक, रमणीक, कमनीय, उत्कृष्ट, उत्तम, सुरम्य. |
494 | सन्ध्या | सायंकाल, शाम, साँझ, प्रदोषकाल, गोधूलि. |
495 | संसार | जग, विश्व, जगत, लोक, दुनिया. |
496 | सोना | स्वर्ण, कंचन, कनक, हेम, कुंदन. |
497 | सिंह | केसरी, शेर, मृगपति, वनराज, शार्दूल, नाहर, सारंग, मृगराज. |
498 | समुद्र | सागर, पयोधि, उदधि, पारावार, नदीश, जलधि, सिंधु, रत्नाकर, वारिधि. |
499 | सम | सर्व, समस्त, सम्पूर्ण, पूर्ण, समग्र, अखिल, निखिल. |
500 | समीप | सन्निकट, आसन्न, निकट, पास. |
501 | स्त्री | सुन्दरी, कान्ता, कलत्र, वनिता, नारी, महिला, अबला, ललना, औरत, कामिनी, रमणी. |
502 | सुगंधि | सौरभ, सुरभि, महक, खुशबू. |
503 | स्वर्ग | सुरलोक, देवलोक, दिव्यधाम, ब्रह्मधाम, द्यौ, परमधाम, त्रिदिव, दयुलोक. |
504 | स्वर्ण | सुवर्ण, कंचन, हेन, हारक, जातरूप, सोना, तामरस, हिरण्य. |
505 | सरस्वती | गिरा, शारदा, भारती, वीणापाणि, विमला, वागीश, वागेश्वरी. |
506 | सहेली | आली, सखी, सहचरी, सजनी, सैरन्ध्री. |
507 | संसार | लोक, जग, जहान, जगत, विश्व. |
508 | हनुमान | पवनसुत, पवनकुमार, महावीर, रामदूत, मारुततनय, अंजनीपुत्र, आंजनेय, कपीश्वर, केशरीनंदन, बजरंगबली, मारुति. |
509 | हिमांशु | हिमकर, निशाकर, क्षपानाथ, चन्द्रमा, चन्द्र, निशिपति. |
510 | हंस | कलकंठ, मराल, सिपपक्ष, मानसौक. |
511 | हृदय | छाती, वक्ष, वक्षस्थल, हिय, उर. |
512 | हाथ | हस्त, कर, पाणि. |
513 | हाथी | हस्ती, कुंजर, कूम्भा, मतंग, वारण, गज, द्विप, करी, मदकल. |
514 | हस्त | हाथ, कर, पाणि, बाहु, भुजा. |
515 | हिमालय | हिमगिरी, हिमाचल, गिरिराज, पर्वतराज, नगेश. |
516 | हिरण | सुरभी, कुरग, मृग, सारंग, हिरन. |
517 | होंठ | अक्षर, ओष्ठ, ओंठ. |
अगर आपको किसी और Paryayvachi Shabd का मतलब पता करना हो तो हमें कमेंट में अपना शब्द बताये।
- Back to Home>
- Blog >
- 501 पर्यायवाची शब्द ? Paryayvachi Shabd in Hindi ?
{ 0 Comment... read them below or Comment }